भगवान कृष्ण का जन्म होते ही खुल गए थे कारागार के दरवाजे
पिछोर। श्रीमद्भागवत कथा में कथा वाचक रामकुमार उपाध्याय ने पिछोर कस्बे में श्रद्धालुओं को कथा का श्रवण कराया। उन्होंने कथा का वाचन करते हुए कहा कि भगवान कृष्ण का जन्म होते ही कारागार के द्वार खुल गए थे। तब वासुदेव भगवान कृष्ण को नंदबाबा के यहां छोड़ आते हैं। गोकुल में भगवान कृष्ण का जन्मोत्सव उत्साह के साथ मनाया गया। इस दौरान कथा वाचक ने पूतना का वध, अधासुर वध प्रसंग का वर्णन भी किया। इस दौरान परीक्षित ओम प्रकाश नगायच-कस्तूरी देवी, रामप्रकाश नगायच, भानू प्रकाश नगायच, विनीत सोनी, डॉ. राहुल रावत, शशी प्रकाश, वेद प्रकाश नगायच, आकाश नगायच, रोहित उपाध्याय, तपन नगायच, विकाश, तरुण, रिषभ उपाध्याय सहित श्रद्धालु मौजूद थे।